तेंदूखेड़ा: मूंग की फसल बर्बाद, धान का रोपा लगाने वाले किसानों को लग रहा डर, व्यापारी भी परेशान
नरसिंहपुर। जिले के के किसानों को बोवनी-बखरनी का कार्य करने के लिए मौसम खुलने का इंतजार करना पड़ रहा है। लगातार हो रही बारिश किसानों को कार्य करने मौका नहीं दे रही है। जोरदार बारिश से खेतों में वेहिसाब पानी भ्ारा है, मूंग की फसल बर्बाद हो गई है। वहीं अब खाली पड़े खेतों में बोवनी के लिए किसान बतर का इंतजार कर रहे है। किसानों का कहना है कि हर साल मानसून 15 जून तक सक्रिय होता था लेकिन इस बार एक सप्ताह पूर्व से लगातार बारिश जारी होने से बतर की स्थिति नही बन पा रही है। बोवनी का कार्य भ्ाी काफी पिछड़ता चला जा रहा है। कृषि विभाग के अधिकारी जरुर कह रहे है कि 5 जुलाई तक बोवनी हो सकती है। फिर भ्ाी किसान कहीं-कहीं धान का रोपा लगाने जुट गए है।
व्यापारी कर रहे किसानों का इंतजार: खरीफ मौसम के दौरान जहां धान, सोयाबीन, उड़द, अरहर, मक्का, ज्वार सहित विभ्ािन्न् फसलों की बोवनी की जाती है। वहीं बीज विक्रेता व्यापारी वर्ग भ्ाी विभ्ािन्न् किस्मों के बीज बेचने समय के पूर्व व्यवस्था करके रख लेते है। लेकिन इस बार बोवनी का कार्य पिछड़ने से बीज का विक्रय भ्ाी अधिक नहीं हो रहा है। व्यापारियों का कहना है कि मौसमी सव्जियों के बीजों की जरूर विक्री जारी है। धान के बीज का विक्रय चल रहा है। लेकिन शेष बीजों की बिक्री कम है। इस वर्ष धान, मक्का के साथ ज्वार की बोवनी के लिए भ्ाी किसानों को प्रेरित किया जा रहा है।
खेतों में सड़ रही मूंग की फसल: लगातार बारिश से क्षेत्र में सैकड़ो हेक्टयर में मूंग की फसल बर्बाद हो गई है। कुछ किसानों ने फसल काटकर ही रखी थी तो कुछ की तैयार फसल कटना शेष थी। स्थिति यह है कि कटी हुई फसल खेतों में ही सड़ रही है, पुन: अंकुरित हो रही है। तैयार खड़ी उपज की फलियां चटककर खेतों में ही बिखर रही है। बतर न मिलने से किसान आनन-फानन उपज को काटकर खेतों की बजाय सड़क पर या मकानों के छत पर ले जाकर फसल को काटकर सुखाने में लगे है। मूंग की बर्बादी से किसान एक बार फिर संकट में है और सर्वे कराकर मुआवजा देने की मांग कर रहे है। विधायक संजय शर्मा के द्वारा भ्ाी इस विषय को गंभ्ाीरता से लेते हुए नुकसानी का सर्वे कराकर मुआवजा दिलाए जाने के लिए शासन-प्रशासन से पत्राचार किया गया है।