ताज़ा खबरेंदेश प्रधानमंत्री ने नए संसद भवन का शिलान्यास किया By Khabar Live 24 On Dec 10, 2020 0 Share नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज नए संसद भवन की आधारशिला रखी। नया भवन आत्मनिर्भर भारत की दृष्टि का एक स्वाभाविक हिस्सा है। आजादी के बाद पहली बार लोगों की संसद बनाने का यह एक शानदार अवसर होगा, जो 2022 में स्वतंत्रता की 75वीं सालगिरह पर ‘न्यू इंडिया’ की जरूरतों और आकांक्षाओं को प्रतिबिंबित करेगा। इस मौके पर प्रधानमंत्री ने कहा कि आज का अवसर भारत के लोकतांत्रिक इतिहास में एक मील का पत्थर है, जो भारतीयता के विचार से भरा हुआ है। उन्होंने कहा कि भारत के संसद भवन के निर्माण की शुरुआत हमारी लोकतांत्रिक परंपराओं के सबसे महत्वपूर्ण चरणों में से एक है। उन्होंने देशवासियों का आह्वान करते हुए कहा कि वे साथ मिलकर संसद के इस नए भवन का निर्माण करें। उन्होंने कहा कि हमारी संसद की इस नई इमारत से कुछ भी अधिक सुंदर या अधिक शुद्ध नहीं हो सकता, जब भारत अपनी आजादी के 75 साल मनायेगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि नए संसद भवन में कई नई चीजें तैयार की जा रही हैं जो संसद सदस्यों की दक्षता में वृद्धि करेंगी और उनकी कार्य संस्कृति को आधुनिक बनाएंगी। उन्होंने कहा कि यदि पुराने संसद भवन ने स्वतंत्रता के बाद भारत को दिशा दी, तो नया भवन देश को’आत्मनिर्भर’बनाने का साक्षी बनेगा। यदि पुराने संसद भवन में देश की जरूरतों को पूरा करने के लिए काम किया गया था, तो21वीं सदी की भारत की आकांक्षाओं को नए भवन में पूरा किया जाएगा। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि भारत में लोकतंत्र हमेशा से शासन के साथ मतभेदों को हल करने का एक साधन रहा है। विभिन्न विचारधाराएं, विभिन्न दृष्टिकोण एक जीवंत लोकतंत्र को सशक्त बनाते हैं। उन्होंने कहा कि हमारा लोकतंत्र इस लक्ष्य के साथ आगे बढ़ा है कि मतभेदों के लिए हमेशा जगह रहती है क्योंकि यह प्रक्रिया से पूरी तरह से पृथक भी नहीं है। उन्होंने जोर देकर कहा कि नीतियां और राजनीति भिन्न हो सकती हैं, लेकिन हम जनता की सेवा के लिए हैं और इस अंतिम लक्ष्य के लिए कोई विभेद नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा कि बहसें,संसद के भीतर हों या बाहर,लेकिन इन बहसों में राष्ट्रसेवा के प्रति दृढ़ संकल्प और राष्ट्रहित के प्रति समर्पण निरंतर परिलक्षित होना चाहिए। प्रधानमंत्री ने लोगों से आग्रह किया कि वे भारत को सबसे पहले रखने का संकल्प लें, केवल भारत की प्रगति और भारत के विकास की पूजा करें, हर निर्णय देश की ताकत बढ़ाए और देश का हित सर्वोपरि हो। उन्होंने सभी से प्रतिज्ञा लेने को कहा कि उनके लिए राष्ट्रहित से बड़ा कोई हित नहीं होगा। देश के लिए उनकी चिंता उनकी अपनी व्यक्तिगत चिंताओं से अधिक महत्वपूर्ण होगी। देश की एकता, अखंडता से ज्यादा उनके लिए कुछ भी महत्वपूर्ण नहीं होगा। देश के संविधान की गरिमा को बनाये रखने और आदर्शों को पूरा करना ही उनके जीवन का सबसे बड़ा लक्ष्य होगा। news sansad bhavan ka shilanyasParliament HousePrime Minister laid the foundation stone of the new parliament building 0 Share FacebookTwitterGoogle+ReddItWhatsAppPinterestEmail