नरसिंहपुर: पुलिस अधिकारी बनकर दुष्कर्म के केस में बेटे को बचाने पिता से ऐंठ लिए छह लाख 80 हजार 

साइबर जालसाजों के निशाने पर बड़े शहरों में पढ़ रहे छात्रों के अभिभावक निशाने पर, एसपी ने जारी किया अलर्ट 

0

 

नरसिंहपुर। जिले के वे अभिभावक जिनके बच्चे बड़े शहरों में रहकर पढ़ाई कर रहे हैं, वे अब साइबर जालसाजों के निशाने पर हैं। ये जालसाज डीपफैक वीडियो के साथ खुद को पुलिस अधिकारी, वकील बताकर उनके बच्चों के अपहरण, दुष्कर्म, हत्या जैसे केसों में फंसने की झूठी जानकारी दे रहे हैं। बचाने के एवज में लाखों रुपए मांगे जा रहे हैं। जिले में ऐसी ही फर्जी कॉल करीब एक दर्जन व्यापारियों, प्रतिष्ठित किसानों और राजनीतिक परिवारों से जुड़े लोगों के पास पहुंची है। एक मामले में तो करेली के अभिभावक से जालसाजों ने छह लाख 80 हजार रुपए ऐंठ लिए हैं। इन घटनाओं को देखते हुए एसपी अमित कुमार ने एडवायजरी जारी कर जिले के लोगों को अलर्ट रहने कहा है।

जानकारी के अनुसार करेली के एक प्रतिष्ठित नागरिक का बेटा बैंगलुरू कर्नाटक में अध्ययनरत है। पिता के पास मोबाइल नंबर 923258016651 से एक कॉल आई। इसमें कहा गया कि उनके बेटे को किसी ने अगवा कर लिया है और उसके ऊपर पुलिस द्वारा दुष्कर्म की धारा 376की कार्रवाई की जा रही है। इसके बाद जालसाज ने एआई चैटबॉट्स (डीपफैक) तकनीक के जरिए उनके बेटे के साथ मारपीट का झूठा वीडियो बनाकर उन्हें 9263395725 नंबर से वाट्सएप कर दिया। जालसाज ने खुद को पुलिस का बड़ा अधिकारी बताकर अभिभावक से विभिन्न अकाउंट में 6 लाख 80 हजार रुपए ट्रांसफर करवा लिए। दो खातों में तो पांच लाख की रकम डलवाई गई, जो कि किन्हीं पूनम सोनी व प्रिया सोनी के नाम पर थे। राशि देने के बाद जब पिता ने जालसाजों से संपर्क करना चाहा तो उनके मोबाइल बंद रहे। खुद को संभालकर जब उन्होंने बेटे से संपर्क किया तो पता चला कि उनके साथ ठगी की गई थी। इसी तरह की कॉल पिछले एक सप्ताह में करीब एक दर्जन लोगों के पास पहुंची है। बताया जा रहा है कि जालसाजों को अमूमन ये पता रहता है कि उनके बच्चे कब कॉलेज या कोचिंग में व्यस्त होंगे। इसी दरम्यान वे अभिभावकों को पुलिस अधिकारी, वकील या संबंधित थाने से बात करने का हवाला देकर अभिभावकों को कॉल करते हैं। ताकि जालसाजों की कॉल के बाद अभिभावक यदि अपने बच्चों को फोन लगाएं तो वे उठें न और वे डर जाएं।

ठगी से बचने इन बातों का रखें ध्यान 

जिले में बढ़ती शिकायतों के मद्देनजर एसपी अमित कुमार ने जिलेवासियों के लिए साइबर सुरक्षा संबंधी एडवायजरी जारी की है। इसमें आह्वान किया गया है कि वे अनजान नंबर से आने वाले कॉल, वाट्सएप कॉल या वीडियो कॉल, टेलीग्राम कॉल न उठाएं। खासकर जो नंबर प्लस 92 से शुरू होते हों, उन्हें तो बिल्कुल भी रिसीव न करें। इसी तरह अनजान व्यक्तियों पर सामान्य तौर पर विश्वास न करें। उनहें अपने परिवार व बच्चों संबंधी जानकारी न दें। न ही सोशल मीडिया पर जानकारियां सार्वजनिक करें। हो सकता है वह आपके परिवार की जानकारी प्राप्त कर अापको परेशान करे। परिवार का कोई व्यक्ति या बच्चा यदि पढ़ाई या नौकरी के लिए किसी अन्य शहर में जाते हैं तो संबंधित स्कूल, कॉलेज, कोचिंग संस्थान, कार्यस्थल व उस क्षेत्र के थाने का नंबर अपने पास रखें। जिससे किसी घटना पर उनसे संपर्क या सत्यापन किया जा सके। यसदि कोई व्यक्ति कॉल पर स्वयं को पुलिस अधिकारी या वकील बता रहा है तो एकदम उसकी बात का विश्वास न करें। साइबर अपराध घटित होने पर उसकी शिकायत अपने नजदीकी पुलिस थाने में या साइबरक्राइम डॉट जीओवी डॉट इन या टोल फ्री हेल्पलाइन नंबर 1930 पर करें।

Leave A Reply

Your email address will not be published.

error: Content is protected !!
Open chat