राज्य शासन द्वारा आम जनता को राहत तथा रियल स्टेट कारोबार को गति देने के लिये 30 जून, 2020 तक गाइड-लाइन वर्ष 2019-20 को यथावत जारी रखने का निर्णय लिया है। इस संबंध में 17 मई को अधिसूचना जारी की जा चुकी है। इससे समग्र रूप से जमीनों/भवनों के क्रय पर लगने वाली स्टाम्प और पंजीयन शुल्क में 5 प्रतिशत की कमी आयेगी।
रियल स्टेट से संबंधित विभिन्न संगठनों द्वारा सम्पत्ति अंतरण पर स्टाम्प ड्यूटी तथा पंजीयन शुल्क कम करने की माँग पर मंत्रियों के समूह द्वारा आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिये गाइड-लाइन वर्ष 2019-20 एवं पंजीयन शुल्क 5 प्रतिशत कम करने की अनुशंसा की गई थी।
पंजीयन एवं मुद्रांक के महानिरीक्षक सुखवीर सिंह ने बताया कि वर्ष 2020-21 की गाइड-लाइन दिनांक 30 जून, 2020 तक स्थापित रखी गई है, जिनमें निर्माण दरों में वृद्धि की गई है। इस प्रकार दिनांक 30 जून, 2020 तक अचल सम्पत्ति के दस्तावेजों का पंजीयन कराने पर पक्षकारों को होने वाले व्यय में 5 से 15 प्रतिशत का लाभ मिलेगा। इस प्रकार लॉकडाउन अवधि में रियल स्टेट कारोबार पर जो विपरीत प्रभाव पड़ा है, उससे उबरने में आसानी होगी। इसके साथ ही आम जनता को भी देय स्टाम्प एवं पंजीयन शुल्क में राहत प्राप्त होगी।