नरसिंहपुर जिले में संचालित शुगर मिलों के संचालकों की समीक्षा बैठक कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित की गई। बैठक में जिले में गन्ना फसल के क्षेत्र विस्तार और किसानों को गन्ने के भुगतान के संबंध में विचार- विमर्श कर आवश्यक निर्देश दिये गये।
बैठक में मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत डॉ. सौरभ संजय सोनवणे, अपर कलेक्टर मनोज ठाकुर, उप संचालक कृषि राजेश त्रिपाठी, कृषि वैज्ञानिक डॉ. आशुतोष शर्मा सहायक संचालक गन्ना डॉ. अभिषेक दुबे, सुगर मिलों के संचालक व प्रतिविधि मौजूद थे।
बैठक में कलेक्टर रोहित सिंह ने निर्देश दिये कि ट्राला का रजिस्ट्रेशन हो और ट्राला एवं ट्रेक्टर- ट्राली पर रेडियम पट्टी/ पर्दा लगाया जावे। गन्ना परिवहन के उपयोग में ली जा रही ट्रालियों से यातायात बाधित नहीं हो, इसके लिए सुगर मिल संचालक, जिला परिवहन अधिकारी एवं पुलिस प्रशासन समन्वय कर सुचारू व्यवस्था बनायें। दुर्घटना आदि न हो इसके लिए भी यह व्यवस्था मददगार साबित होगी।
बैठक में बताया गया कि भारत सरकार द्वारा गन्ना पैराई सत्र 2021- 22 के लिए शक्कर कारखानों द्वारा किसानों से खरीदे जाने वाले गन्ने का उचित एवं लाभकारी मूल्य- एफआरपी का निर्धारण किया गया। इसके अनुसार 10 प्रतिशत सुगर रिकव्हरी होने पर 290 रूपये प्रति क्विंटल गन्ना की दर से भुगतान करना निर्धारित किया गया है। इसके बाद प्रति 0.1 प्रतिशत सुगर रिकव्हरी बढ़ने पर 2.90 रूपये प्रति क्विंटल के आधार पर रेट का निर्धारण किया जाना है।
बैठक में सभी सुगर मिल संचालकों को निर्देशित किया गया कि आगामी जनवरी- फरवरी माह में गन्ने का सुगर रिकव्हरी रेट बढ़ जाता है। इस कारण से गन्ने का शेड्यूल रेट तय कर 7 दिवस के भीतर सूचित करें। प्रत्येक सुगर मिल में रिकव्हरी कटेंट चैक करने के लिए जिला स्तर से प्रतिदिन निरीक्षण के लिए टीम गठित करने के निर्देश बैठक में दिये गये। सुगर मिल संचालकों को गन्ना विकास परिषद की लंबित राशि जमा करने के निर्देश दिये गये।